सिरसा: दिव्यांग बच्चे परमात्मा की अनमोल रचना है, धरा पर सम्मानीय आत्माएं हैं – आचार्य सत्यदेवानन्द जी महाराज

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सिरसा हरियाणा: प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय के दिव्यांग सेवा प्रभाग द्वारा इन विशेष बच्चों के मानसिक तथा बौद्धिक विकास के लिए पूरे भारत में अभियान चलाए जा रहे हैं जिसके अन्तर्गत एक अभियान पंचकुला से चलकर सिरसा पहुंचा। इस अभियान के समापन समारोह मे हिसार रोड पर स्थित ब्रहाकुमारीज सेवाकेन्द्र आनन्द सरोवर में आयोजित कार्यक्रम में सिरसा के दिशा संस्थान, प्रयास तथा आर के जे वैलफेअर सैंटर फॉर परसन विद स्पीच एण्ड हीयरिंग इम्पेअर के बच्चों तथा टीचर्स नें विशेष तौर पर भाग लिया। यह अभियान संस्था के दिव्यांग सेवा विभाग के प्रमूख बी के सूर्यमनी जी के निर्देशन में सिरसा पंहुचा और यहां इन विशेष बच्चों के लिए कार्यशालाओं, गेम्स तथा अन्य कई प्रकार की क्रियाकलापों का आयोजन किया गया और विजेता बच्चों को पुरस्कृत भी किया गया। बी के सूर्यमनी जी ने बताया कि समाज में दिव्यांगों के प्रति समानता लाई जा सके और इनके सम्पूर्ण विकास के लिए और इनके भीतर छिपी अदभुत प्रतिभाओं को उजागर करने के लिए यह अभियान चलाया जा रहा है।
कार्यक्रम में इन विशेष बच्चों को आशीर्वाद देने वृंदावन से गौवत्स आचार्य श्री सत्यदेवानन्द जी महाराज भी बतौर मुख्य अतिथि उपस्थित हुए और उन्होंने कहा कि यह बच्चे इस धरा पर परमात्मा की अनमोल रचना है, इनके प्रति सम्मान की दृष्टि रखते हुए इनको हर अधिकार प्राप्त कराए और जीवन में उंच मुकाम हासिल करने के लिए इन्हें सहयोग करें। महाराज जी ने ब्रह्माकुमारी संस्थान का इस आयोजन के लिए आभार प्रकट किया और कहा कि इस प्रकार के आयोजन निश्चित ही इन बच्चों के लिए लाभप्रद सिद्ध होंगेा।
कार्यक्रम में मण्डलीय बाल कल्याण अधिकारी बहन कमलेश चाहर भी बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुई और बच्चों को अपनी शुभ कामनाएं देतें हुए उन्होंने कहा कि यह बच्चे हर प्रकार से समर्थ है और हर कार्य करने की क्षमता रखते हैं इसलिए हमें इन्हें सहयोग देकर इनके व्यक्तित्व को निखारना है।
इसके अलावा दिशा संस्थान के निदेशक तथा पल पल के मुख्य सम्पादक श्री सुरेन्द्र भाटिया जी ने भी अपने विचार रखे और अपील की कि दिव्यांग बच्चों के सम्पूर्ण विकास के लिए आध्यात्मिक संस्थान आगे आएं क्योंकि आघ्यात्मिकता के समावेश से ही समाज में इन बच्चों की प्रतिभाओं में निखार आ सकता है।
ब्रह्माकुमारी आनन्द सरोवर की प्रभारी राजयोगिनी बिन्दू बहन जी ने बच्चों को ‘मैं कर सकती हूं’ का दृष्टिकोण अपनाने के लिए प्रेेरित किया और कहा कि इसी से आपकी प्रतिभाएं विकसित होंगी और आप असम्भव को भी सम्भव करने में सक्षम बनेंगे।
कार्यक्रम के दौरान बहन गीता कथूरिया जी, बहन बिमला पात्तर जी – धर्मपत्नी श्री संजिव पात्तर जी, एस पी जेल, विकलांग संघ के स्टेट प्रैसीडेंट श्री बंसी लाल जी ने भी बच्चों के प्रति अपनी श्रेष्ठ भावनाएं व्यक्त की।

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