रीवा,मध्य प्रदेश: बृक्ष जीवन दायिनी प्राण वायु के मुख्य स्रोत हैं उनमें ही मानव को प्राण वायु फल फूल पत्ती मिलती है और यह धरती को हरा भरा रखने के साथ-साथ पानी बरसाने के लिए बहुत सहायक होते हैं। प्राचीन काल से इसे पुण्य कार्य माना जाता है। एक पेड़ मां के नाम से अभियान में सभी विंध्यवासी इस मुहिम में सहभागी होकर धरती मां के प्यार का ऋण चुकाए। उक्त वक्तव्य मुख्य अतिथि के रूप में वन मंडल अधिकारी श्री अनुपम शर्मा ब्रह्माकुमारी संस्थान रीवा में संबोधित कर रहे थे। इस कार्यक्रम में दैनिक जागरण के वरिष्ठ संपादक श्री देवेंद्र सिंह जी,प्रोफेसर ए पी सिंह और हाजी एक खान ने कहा कि मानव का स्वभाव पेड़ों से अनुराग और अपनत्व का है एक पेड़ काटने की पूर्व हमें 10 पेड़ लगा देना है। यही पेड़ों के प्रति मानवीय दृष्टिकोण व परोपकारी भाव है। इस कार्यक्रम में डॉ आरती तिवारी डॉ ममता नरेंद्र सिंह, मुख्य अभियंता शेर बहादुर सिंह परिहार और डॉ सुनीता पांडे ने कहा कि पेड़ हमें मानवी मूल्य का पाठ पढ़ाते हैं मुख्य वक्ताओं में शिव सिंह किसान सभा के अध्यक्ष और संरक्षक श्री रामजीत सिंह ने बताया कि पेड़ का स्वभाव दातापन का होता है। बच्चों के पत्थर मारने पर वह बदले में फल देते हैं।
इस कार्यक्रम में मध्य प्रदेश जन अभियान रीवा के समन्वयक अमित अवस्थी ने कहा कि मैं 50 पेड़ इस वर्ष लगाकर धरती मां का ऋण चुकाऊंगा। इस अवसर पर विंध्य क्षेत्र के वरिष्ठ नागरिकों व बुद्धिजीवियों ने अपने विचार रखें जिसमें प्रमुख रूप से निलेश श्रीवास्तव, आशीष खरे, नेहा सिंह, डॉ विकास श्रीवास्तव,ओमकार श्रीवास्तव,सुरेश कुमार एडवोकेट,डॉ शाहिद परवेज, रामचन्द्र वर्मा, बीके बहादुर भोपाल,प्राचार्य दीपक तिवारी,उपस्थित रहे। ब्रह्माकुमारी संस्थान की क्षेत्रीय संचालिका राजयोगिनी बीके निर्मला दीदी ने कहा कि पेड़ को पूर्वकाल पुत्र के रूप में, देव व देवी के रूप में पूजा जाता था जिसका मुख्य भाव यही था कि लोग जितना पेड़ों के प्रति सम्मान श्रद्धा रखेंगे उतना ही वह पेड़ लगाकर मानवता को सुरक्षित करेंगे। आभार प्रदर्शन बीके डॉक्टर अर्चना बहन बीके नम्रता बहन जी ने किया। इस अवसर पर भिन्न क्षेत्र के गणमान्य नागरिकों वा बुद्धिजीवियों और सभी वर्ग के प्रतिष्ठित नागरिकों को पेड़ एक पेड़ भेंट करके सम्मानित किया गया।