परम ज्योति से आत्म ज्योति जगाने का यादगार पर्व है दीपावली-बीके शैलजा
नये सामान के साथ नए संस्कारों का सृजन करना ही सच्ची दिवाली मनाना है
छतरपुर,मध्य प्रदेश। हमारे भारत देश में हम जो भी पर्व मनाते हैं वह अपने आप में कोई आध्यात्मिक रहस्य लिए हुए होते हैं, जीवन के साथ इनका सीधा-सीधा जुड़ाव होता है, इनसे आध्यात्मिक उन्नति होती है समाज को भी कुछ मिले, राष्ट्र को भी कुछ मिले। तो वास्तव में दीपक तो जलाना है लेकिन आत्म दीपक जगाना है। जैसे ही हमारे अंदर की काली अमावस्या की रात पूरी होती है अज्ञानता का अंधकार खत्म हो ज्ञान का प्रकाश आता है तो ईश्वरीय ज्ञान हमें रिलाइज कराता है कि सारे दैवी गुण, दैवी शक्तियां हमारे अंदर अपनी निजी संपत्ति के रूप में, हमारे मूल संस्कारों के रूप में हमारे अंदर समाहित हैं केवल हम सो रहे थे अर्थात देह अभिमान में आ गए थे अपने आत्म स्वरूप को भूल गए तो हमारे अंदर वो दैवी लक्षण कमजोर हो गए। अब इस कमजोरी को समाप्त करने के लिए हमें आत्मदीप जगाना है और फिर सच्ची दिवाली मनाना है। परम ज्योति के ज्ञान प्रकाश से ही आत्म ज्योति जागृत होगी और दिव्य गुणों से संपन्न श्री लक्ष्मी के लक्षण संपन्न स्वर्णिम दुनिया आएगी तब घर-घर खुशियों की दिवाली होगी। इस दीपावली अपने घर में नए सामान के साथ नए संस्कारों का सृजन करते हुए मनायें।उक्त उठकर प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय किशोर सागर में दीपावली के उपलक्ष्य में आयोजित कार्यक्रम में छतरपुर सेवाकेंद्र प्रभारी बीके शैलजा बहन जी ने व्यक्त किए।
इस अवसर पर श्री गणेश श्री लक्ष्मी, श्री सरस्वती जी की चैतन्य झांकी लगाई गई तत्पश्चात कु.अदिति, कु. गौरी द्वारा देवी आराधना एवं दीपावली बधाई गीत पर नृत्य प्रस्तुत किया गया।
कार्यक्रम में पंडित शंभूनाथ शुक्ल विश्वविद्यालय शहडोल सहायक कुल सचिव अमन अग्रवाल, पन्ना ट्रेजरी ऑफिसर गौरव गुप्ता, सिविल लाइन थाना प्रभारी वाल्मीकि चौबे, भारतीय जीवन बीमा निगम प्रशासनिक सहायक अर्पण अग्रवाल, नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉ.खुराना, वरिष्ठ पत्रकार सुरेंद्र अग्रवाल, रिटा. होम कमांडेंट करण सिंह, जेलर राम शिरोमणि पांडे मुन्नीलाल ठेकेदार, शंकर लाल सोनी सहित अन्य गणमान्य नागरिक सहित ब्रह्मकुमारी के सभी भाई बहनें बीके रमा, बीके रीना, रजनी, रेखा बहन उपस्थित रहीं।
सभी ने मिलकर चैतन्य देवियों की आरती की तत्पश्चात दीप प्रज्वलित किए।