मुंबई-बोरीवली पश्चिम,महाराष्ट्र: सेशन में आए भाई बहनों का, सेंटर प्रभारी बीके बिंदु ने स्वागत करते हुए कहा की, कैसे पूरे विश्व की collective consciousness को बढ़ाने के लिए एक एक के मन का शक्तिशाली होना बहुत जरूरी है और आज के इस अनिश्चितता के दौर में अपने मन का ध्यान रखना अब एक choice नहीं, बल्कि जरूरत बन चुकी है।
टॉक की मुख्य वक्ता बीके श्रेया ने बड़े ही सारयुक्त शब्दों में, मन को सदा शांत कैसे रखें, इसके बारे में सभी को बताते हुए कहा की अगर मन में भविष्य की चिंता या डर है, या फिर मन इच्छित फल न मिलने पर क्रोध या बदला लेने की भावना हैं, stress या competition का भाव है, वो मन शांत नहीं रह सकता। तथा उन्होंने सटीक उदाहरणों द्वारा स्पष्ट किया की कैसे परिस्थिति का असर, स्वस्तिथी पर नहीं, बल्कि स्वस्तिथि से परिस्थिति बदली जा सकती है। परंतु इसके लिए जरूरी है की हम अपने जीवन में आई हुई परिस्तीथियो को स्वीकारें। स्वीकारने का यथार्थ अर्थ है की, बाहर की कोई भी परिस्तीथी मुझे हलचल में न लाए।
बीके श्रेया ने कहा की भविष्य, हमारे वर्तमान की ही परछाई है, अतः हमे केवल वर्तमान में अपना हर कर्म ठीक रखने की जरूरत है। और वो तब मुमकिन हैं जब हमारा मन शांत होगा। जिस प्रकार शरीर को ठीक रखने के लिए, शक्तिशाली भोजन अनिवार्य है, उसी प्रकार मन को शांत रखने के लिए मन के भोजन का शक्तिशाली होना अनिवार्य है। उन्होंने बताया की हमारे मन को भोजन हैं – जो भी हम देखते, सुनते व पड़ते हैं। यदि हम चाहते हैं की मन, बाहरी परिस्थितियों में भी सदा शांत रहे, तो उसके लिए, नित्य मन को positive dose यानी की ज्ञान की खुराक देना अतिआवश्यक है।
मंच संचालन बीके पिंकी ने किया तथा कार्यकर्म की शुरुवात, guests द्वारा कैंडल लाइटिंग से हुई। दीप भाई द्वारा प्रेरणादाई मधुर गीतों एवं तनीषा बहन द्वारा स्वागत नृत्य से हुई। साथ ही विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर, सभी मेहमानों ने पर्यावरण का ध्यान रखने का संकल्प लिया।
अंत में, बीके श्रेया ने सभी भाई बहनों को, 15 दिवसीय कोर्स का निमंत्रण देकर तथा मेडिटेशन कमेंट्री द्वारा शांति की अनुभूति कराते हुए कार्यक्रम का समापन किया।