परमात्मा की शक्ति से भारत पुनः स्वर्णिम भारत विश्व गुरु बनेगा -ब्रह्माकुमारी हेमलता दीदी
इंदौर,मध्य प्रदेश। भारत की महिमा में कहा गया है कि जहां डाल डाल पर सोने की चिड़िया करती थी बसेरा वो भारत देश है मेरा – ऐसी विरासत ऐसा स्वर्णिम भारत कभी इस धरा पर था जिसकी आज भी हर भारतवासी परिकल्पना करता है। और वह दिन दूर नहीं जब पूरे विश्व को राह दिखाने वाला भारत विश्व गुरू बनकर पूरे संसार में चमकेगा।
उक्त विचार इंदौर जोन की क्षेत्रीय निर्देशिका ब्रह्माकुमारी हेमलता दीदी ने ओमशान्ति भवन ज्ञान शिखर के ओमप्रकाश भाईजी सभागृह में शिवरात्रि के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम “परमात्म शक्ति से स्वर्णिम भारत की विरासत” विषय पर व्यक्त किए। आगे आपने बताया कि आज के परिदृश्य पर हम दृष्टि डाले जहां चारों ओर भय , अशांति, लड़ाई-झगड़ा खून खराबा, प्रकृति की हलचल देखने में आ रही है, किंतु कहावत है अति के बाद ही अंत होता है और अब समय है जब परमात्मा स्वयं इस सृष्टि पर आकर सत्य ज्ञान के माध्यम से मानव को पुनः अपने मूल सतोगुणी संस्कार की ओर ले जाने का पुरुषार्थ करा रहे हैं तथा सहज राजयोग सीखाकर विकारों और विकर्मों को नाश करने की विधि बता रहें हैं जिससे मानव फिर से देवत्व की प्राप्ति कर सके और इस सृष्टि को फिर से अपनी खोई हुई स्वर्णिम और सुखमय भारत की विरासत मिल सके।
परमात्मा द्वारा कल्प कल्प किए गए इसी यादगार को हम महाशिवरात्रि पर्व के रूप में प्रतिवर्ष मानते हैं।
इस अवसर पर मेडिकेप्स यूनिवर्सिटी के कुलपति प्रो दिलीप कुमार पटनायक ने कहा कि मुझे यहां आकर पूर्ण विश्वास हो गया है कि वर्तमान समय परमात्मा का कार्य चल रहा है उनके द्वारा दिए गए सत्य ज्ञान को हमें भी आत्मसात करना है और अपने विद्यार्थियों को भी सीखना है युवा पीढ़ी को शिक्षा के साथ आध्यात्मिक शिक्षा की अत्यंत आवश्यकता है। आपने सुंदर कहानी के माध्यम से स्पष्ट किया कि अच्छे कार्यों में दूसरों को न देख मुझे सहयोगी बनना है। सलाह देने के बदले सहयोग देना हैं।
अपने विचार रखते हुए इंदौर की पोस्टमास्टर जनरल श्रीमति प्रीति अग्रवाल ने कहा कि वर्तमान परिपेक्ष में चुनौतियों का सामना करने के लिए जीवन में शक्ति की आवश्यकता है और वह शक्ति हमें शिव से ही प्राप्त हो सकती है शक्ति के बिना शिव भी अधूरा है। अतः दोनों को साथ मिलकर ही सृष्टि परिर्वतन का कार्य करना होगा।
हंसदास मठ के महामंडलेश्वर स्वामी पवन दास जी ने कहा कि शिव कल्याणकारी है, उनके इस कर्तव्य को हम भी जीवन का मूल मंत्र बना ले। भारत का सनातन धर्म हमें वसुधैव कुटुंबकम्, सर्वे भवंतु सुखिनः सिखाता है। आज हम सभी का कल्याण कर सभी को खुशी देने का संकल्प करें । यही सच्चे अर्थों में शिव के प्रति अगाध श्रद्धा होगी।
मध्यप्रदेश इंडस्ट्रियल एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष भ्राता प्रमोद डफरिया ने कहा कि चार चीज हर इंसान की आवश्यकता है- सुख, शांति, समृद्धि और स्वास्थ्य इन चारों की प्राप्ति के लिए पांचवा एस अर्थात् दिल से सेवा करनी पड़ेगी। तभी जीवन में सब कुछ प्राप्त होगा । जो मैंने ब्रह्माकुमारीज के मुख्यालय माउंट आबू में जाकर देखा कि वहां सभी निस्वार्थ भाव से अथक होकर दिन रात सेवा में लगे रहते हैं।
शक्ति निकेतन के संचालिका का ब्रह्माकुमारी करुणा दीदी ने सभी को राजयोग की गहन अनुभूति कराई। ब्रह्माकुमारी आकांक्षा बहन एवं ब्रह्माकुमार दीपेश भाई ने शिव महिमा पर आधारित सुंदर गीत की प्रस्तुति दी तथा कुमारी जीविका ने शिव अराधना का सुन्दर नृत्य प्रस्तुत किया।
कार्यक्रम के अंत में शिव ध्वज फहराकर कर सभी ने शिव ध्वज के निचे संपूर्ण विश्व को सुखमय संसार बनाने के लिए स्वयं के विकारों का त्याग करने का शुभ संकल्प लिया। इस अवसर इंदौर शहर के गणमान्य लोग उपस्थित थे। कार्यक्रम का संचालन वरिष्ठ राजयोग शिक्षिका ब्रह्माकुमारी अनिता दीदी ने किया।












